Mann सरकार का ‘E-Governance’: Punjab में Investment की बाढ़, अब District-Level पर 98% काम समय पर पूरा

पंजाब की मान सरकार ने एक बार फिर यह साबित कर दिया है कि अगर नीयत साफ़ हो, तो नतीजे भी ज़मीनी होते हैं। कुछ साल पहले तक पंजाब में नया बिज़नेस शुरू करना या फ़ैक्ट्री लगाने की मंज़ूरी लेना किसी सिरदर्द से कम नहीं था। छोटे कारोबारी सरकारी दफ़्तरों के चक्कर काटते-काटते थक जाते थे। हर जगह फ़ाइलें अटक जाती थीं, और कई बार रिश्वत की माँग तक होती थी। लेकिन अब यह तस्वीर बदल चुकी है।

मुख्यमंत्री भगवंत मान की अगुवाई में पंजाब में ‘ई-शासन (E-Governance)’ और ‘फास्टट्रैक पंजाब पोर्टल (FastTrack Punjab Portal)’ जैसे कदमों ने पूरे सिस्टम को बदल कर रख दिया है। अब ज़िला स्तर पर 98% रेगुलेटरी क्लीयरेंस (Regulatory Clearance) समय पर पूरी हो रही है। मतलब—अब काम अटकता नहीं, रॉकेट की स्पीड से आगे बढ़ता है।

पंजाब के हर ज़िले में बदलाव की लहर

मान सरकार का मानना है कि तरक्की का मतलब सिर्फ़ बड़ी सड़कें या ऊँची इमारतें नहीं, बल्कि छोटे कारोबारी का हौसला बढ़ाना है। पहले छोटे दुकानदार या उद्यमी को अपनी दुकान या यूनिट बढ़ाने के लिए महीनों तक अफ़सरों के दफ़्तरों के चक्कर लगाने पड़ते थे। अब वह दौर ख़त्म हो गया है।

आज हर ज़िले में काम तेजी से निपट रहा है। कोई भी बिज़नेस शुरू करने या मंज़ूरी लेने के लिए अब ना तो लंबी लाइनें लगानी पड़ती हैं, ना किसी सिफ़ारिश की ज़रूरत है।

यह 98% की सफलता उस छोटे दुकानदार की जीत है, जो अब अपने दम पर आगे बढ़ सकता है। यह उस किसान परिवार की ख़ुशी है, जिसका बेटा अपने गाँव में फ़ूड प्रोसेसिंग यूनिट लगाना चाहता था, और अब वह सपना हकीकत बन गया है।

29 मई 2025 को लॉन्च हुआ ‘फास्टट्रैक पंजाब पोर्टल’

मुख्यमंत्री भगवंत मान ने 29 मई 2025 को FastTrack Punjab Portal को फिर से लॉन्च किया था। यह एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है जो “Ease of Doing Business” यानी बिज़नेस करने में आसानी को हकीकत में बदल रहा है।

इस पोर्टल के ज़रिए कोई भी उद्यमी या कंपनी घर बैठे ही 100 से ज़्यादा मंज़ूरियों के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकती है — और ये सारी मंजूरियाँ 45 दिनों के अंदर मिल जाती हैं।

अब अलग-अलग विभागों के चक्कर लगाने की ज़रूरत नहीं। इस पोर्टल पर सिंगल विंडो सिस्टम लागू किया गया है, जिससे पूरी प्रक्रिया आसान और पारदर्शी हो गई है। इससे समय भी बच रहा है और भ्रष्टाचार में भारी कमी आई है।

सरकार की पारदर्शी नीतियों के नतीजे

पोर्टल लॉन्च होने के बाद के आँकड़े वाकई कमाल के हैं:

  • फरवरी 2025 में 8,075 आवेदन लंबित थे, अब सिर्फ़ 283 बचे हैं — यानी 96% की कमी।
  • ज़िला स्तर पर 833 लंबित केस घटकर अब सिर्फ़ 17 रह गए — 98% निपटान दर।
  • इस पोर्टल के ज़रिए अब तक ₹21,700 करोड़ की परियोजनाओं को मंज़ूरी मिली है।
    • यह 2024 की तुलना में 167% ज़्यादा और 2023 से 110% अधिक है।
  • आवेदन संख्या बढ़कर 950 हो गई है — यानी 76% वार्षिक वृद्धि।
  • पिछले चार महीनों में, 17,006 सेवा आवेदन (87%) और 4,884 लाइसेंस आवेदन (81%) समय पर पूरे किए गए।

तेज़ मंज़ूरी, साफ़ प्रक्रिया – निवेशकों को राहत

पंजाब सरकार के पंजाब व्यापार अधिकार अधिनियम (RTBA)’ के तहत अब ₹125 करोड़ तक के निवेश वाली परियोजनाओं को जल्दी मंज़ूरी मिल रही है।

  • औद्योगिक पार्क के अंदर वाले प्रोजेक्ट्स को सिर्फ़ 5 दिन में मंज़ूरी मिलती है।
  • पार्क के बाहर वाले प्रोजेक्ट्स को 15–18 दिनों में स्वीकृति मिल जाती है।
  • और सबसे खास बात — ये मंजूरियाँ केवल Self-Declaration के आधार पर होती हैं।

किन क्षेत्रों को मिल रहा फायदा

फास्टट्रैक पंजाब पोर्टल से कई सेक्टरों को फायदा हुआ है, जैसे:

  • Manufacturing Units (Textiles, Automobiles, Food Processing आदि)
  • Renewable Energy Projects (Solar, Biogas Plants)
  • Pharmaceuticals और Healthcare Units
  • Agro-based Industries
  • Startups और MSMEs
  • Hotel-Hospitality Projects
  • IT और Electronics Parks
  • Logistics और Warehousing Sectors

यह पोर्टल खास तौर पर ₹5 करोड़ से ज़्यादा निवेश वाले प्रोजेक्ट्स के लिए डिज़ाइन किया गया है, जो राज्य में बड़े पैमाने पर रोज़गार के अवसर और नई टेक्नोलॉजी ला रहे हैं।

MSME और छोटे कारोबारियों के लिए वरदान

यह सुधार सिर्फ़ बड़े उद्योगपतियों के लिए नहीं, बल्कि पंजाब के सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (MSME) के लिए भी वरदान साबित हुआ है।
पहले एक छोटे उद्योग को 15–20 तरह के परमिट लेने पड़ते थे, अब सिर्फ़ 5–6 दस्तावेज़ों में काम हो जाता है।

औद्योगिक पार्क में उद्योग लगाने के लिए अब सिर्फ़ 5 दिनों में Principle Approval मिल जाती है।
यह तेज़ी छोटे कारीगरों और स्थानीय उद्यमियों के लिए किसी तोहफ़े से कम नहीं।

हर ज़िले में समान विकास – अब लुधियाना या मोहाली तक सीमित नहीं

पहले निवेश ज़्यादातर लुधियाना या मोहाली जैसे बड़े शहरों तक सीमित था।
लेकिन अब सरकार की “समान विकास नीति (Balanced Development Policy)” के कारण हर ज़िले में औद्योगिक विकास की लहर दौड़ रही है।

हर ज़िले के डिप्टी कमिश्नर और अफ़सर अब ईमानदारी और तेज़ी से काम कर रहे हैं। इससे लोगों का सिस्टम पर भरोसा लौटा है — अब “पैरवी” नहीं, “मेहनत” काम आती है।

एक नया आत्मविश्वासी पंजाब

यह सुधार सिर्फ़ प्रशासनिक बदलाव नहीं है, बल्कि यह पंजाब के आत्म-सम्मान और आत्मनिर्भरता का पुनर्जन्म है।
अब कोई भी मेहनती बेटा या बेटी अपने राज्य में रहकर काम शुरू कर सकती है, बिना किसी डर या परेशानी के।

मान सरकार की यह पहल न सिर्फ़ पंजाब की Ease of Doing Business रैंकिंग बढ़ा रही है, बल्कि युवाओं को विदेश जाने की बजाय अपने राज्य में सपने पूरे करने का भरोसा दे रही है।

मान सरकार ने यह दिखा दिया है कि जब नीयत साफ़ हो और सिस्टम डिजिटल हो, तो बदलाव ज़रूर आता है।
फास्टट्रैक पंजाब पोर्टल’ और ‘ई-शासन सुधार’ ने पंजाब को देश के सबसे आसान बिज़नेस करने वाले राज्यों में शामिल कर दिया है।

अब पंजाब का हर ज़िला कह रहा है —
काम अब अटकेगा नहीं, रुकेगा नहीं… मान सरकार ने हमें ईमानदारी की ताक़त दी है।”

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